राशन दुकानदार द्वार पहाड़ी कोरबाओं को ठगने की किया जाता है कोशिश।नल जल व्यवस्था भी फेल।

सिसरिगां का आश्रित ग्राम गणेशपुर के नागरिक पानी को तरस रहे हैं। बोरिंग बनाने के लिए चंदा करते हैं मिस्त्री दारू मुर्गा की मांग करता है
चावल लेने के लिए दूर जाना पड़ता है घर में वाहन सुविधा नहीं होने से किराया देकर चावल लाना पड़ता है। पहाड़ी कोरबाओं का संकोची प्रवृत्ति एवं अशिक्षित होने का राशन दुकानदार फायदा उठाने का करता है कोशिश।
महीने में केवल 4 दिन खुलता है दुकान जिसमें नेटवर्क परेशानी के वजह से अनेकों दिन चावल भी वितरण नहीं हो पता है इस कारण अनेकों हितग्राही वंचित हो रहे हैं राशन से ।

गांव में पानी की व्यवस्था नहीं के बराबर है गांव वाले अपने चंदा के पैसे से सुधारते हैं मोटर पंप मिस्त्री मांग करता है दारू मुर्गा एवं पैसा।
वही राशन दुकानदार अजय गुप्ता द्वारा इन आदिवासियों को ठगने की कोशिश करता है जब इस मामले में सामूहिक रूप से ग्रामवासी विरोध करते हैं तो अजय गुप्ता द्वारा अपना गलती स्वीकार किया जाता है। मगर ऐसा बहुत कम ही होता है कि वह अपना गलती स्वीकार करें जहां शासन ने 6 माह का चना एक मुस्त वितरण के लिए आदेश एवं आवंटन दिया है । वहीं ग्राम वासियों के अनुसार राशन दुकानदार अजय गुप्ता द्वारा केवल एक माह का चना इन्हें दिया गया है अजय गुप्ता के द्वारा संचालित लगभग सभी राशन दुकानों की यही दास्तां है मगर इस दुकानदार पर कोई भी कार्यवाही होना संभव नहीं है ।
अभय दान प्राप्त अजय गुप्ता अपने मन माने तरीके से धरमजयगढ़ के ग्रामीण क्षेत्र में राशन दुकान संचालित कर रहा है एवं हितग्राहियों को परेशान कर रहा है एवं राशन घोटाला को अंजाम दे रहा है जरूरत है इस दुकानदार पर निष्पक्ष जांच की और जांच होने पर बहुत ही बड़ी तरीके से घोटाला सामने आने की पूरी संभावना है।